पिछले कई सालों (नकारात्मक और सकारात्मक वजहों) से भारतीय राजनीति में केन्द्र बने हुए गुजरात के मुख्यमंत्री नरेद्र मोदी
को इस बार के गुजरात विधानसभा चुनाव में जीत की हैट्रिक लगाने का मौका दे
सकता है. इंडिया टुडे के ओपिनियन पोल से तो यही लगता है. पोल के मुताबिक
उनकी ईमानदार और विकास पुरुष छवि के बलबूते वह गुजरात में बीजेपी को तीसरी
बार सत्ता दिलाने में सफल रहेंगे.
इस
सर्वे में यह भी पाया गया है कि इस बार बीजेपी के सीटों की संख्या में
पिछली बार के मुताबिक काफी बढोत्तरी होगी. इस ओपिनियन पोल में जनता से जिस
विषय पर राय ली गई उसमे नरेंद्र मोदी का व्यक्तित्व, बतौर मुख्यमंत्री उनका
प्रशासन तथा गुजरात में मुसलमानों की सोच क्या है आदि शामिल हैं.
----एक विकास पुरुष की छवि----
सर्वे
में गुजरात के मतदाताओं ने उनकी विकास पुरुष छवि को स्वीकार किया है. लोगों
से जब यह पूछा गया कि उनकी सबसे बड़ी उपलब्धि क्या है? तो 43 फीसदी लोगों
ने विकास को उनकी सबसे बड़ी उपलब्धि करार दिया. 37 फीसदी लोगों का यह भी
मानना है कि इस बार का चुनावी मुद्दा ‘गुजरात के विकास’ इर्द-गिर्द ही
रहेगा. 67 फीसदी के अनुसार कि उनके कार्यकाल में औद्योगिक विकास से
नौकरियां बढ़ी हैं.
---बीजेपी में प्रधानमंत्री के रूप में मोदी दूसरों पर भारी----
इस
ओपिनियन पोल से पता चलता है कि मोदी आगामी चुनाव को देखते हुए देश के नए
प्रधानमंत्री के रूप में योग्य उम्मीदवार हैं. बीजेपी में प्रधानमंत्री के
तौर पर गुजरात के लोगों की पहली पसंद नरेंद्र मोदी ही हैं. प्रधानमंत्री के
तौर पर 56 फीसदी लोगों ने उन्हे वोट किया. वहीं सुषमा स्वराज को 09 फीसदी
जबकि नितिन गडकरी 03 फीसदी वोट मिले हैं. लोगों से जब यह पूछा गया कि मोदी
देश के प्रधानमंत्री बनते हैं तो गुजरात का विकास कैसा होगा तो 60 फीसदी
लोगों ने अच्छा कहा. वहीं 25 फीसदी लोगों ने बुरा. एक अन्य अहम सवाल पर जब
उनसे पूछा गया कि सभी पार्टियों में प्रधानमंत्री के तौर पर आपकी पहली पसंद
कौन है? 56 फीसदी लोगों ने उन्हें ही अपनी पहली पसंद बताया. वहीं 35 फीसदी
लोगों ने कांगेस के युवराज राहुल गांधी को अपनी पसंद बताई.
---मुसलमानों के लिए अभी खलनायक हैं मोदी---
सर्वे
से पता चलता है कि 2002 में हुए गुजरात दंगे का दाग इतना गहरा है कि मोदी
लाख कोशिश कर ले इस दाग को मिटा नहीं सकते. मोदी गुजरात के विकास के दावे
कितने भी कर लें वहां के मुसलमान अभी उन्हे खलनायक तौर पर देखती हैं. जब
मुस्लिम वोटरों पूछा गया कि वह मोदी को वोट देंगे तो 61 फीसदी लोगों ने कहा
नहीं. वहीं 17 फीसदी मुस्लिम वोटरों ने हां भी भरी. एक अन्य सवाल पर
मुस्लिम वोटरों से पूछा गया कि मोदी ने उनके फायदे के लिए कुछ काम किया तो
59 फीसदी लोगों ने कहा नहीं. लेकिन जब ओवर ऑल गुजरात के मतदाताओं से पूछा
गया कि क्या वह मोदी को गुजरात दंगों के लिए दोषी मानते हैं तो 58 फीसदी
लोगों ने कहा नहीं जबकि 28 फीसदी लोगों ने हां कही.
----नरेंद्र मोदी का व्यक्तित्व----
एक तरह
लोग जहां मोदी को विकास पुरूष का दर्जा देते हैं वहीं कुछ उनकी कमजोरियों
को बताते हुए 30 फीसदी लोग उन्हे अहंकारी मानते हैं. जबकि 18 फीसदी लोग
उन्हे असंवेदनशील मानते हैं. उनकी ताकत में ईमानदार छवि को सबसे ज्यादा
नंबर देते हैं जबकि उनके बेहतर नेतृत्व के लिए लोग उन्हे 26 फीसदी वोट देते
हैं. मोदी के ईमानदार और विकास पुरुष छवि को देखते हुए लोगों को मानना है
कि इस बार बीजेपी को 11 सीटों का फायदा होगा और कुल सीटे 128 मिलेंगी जबकि
कांग्रेस को 11 सीटों के घाटे के साथ कुल 48 सीटे मिलेंगी.
इंडिया
टुडे द्वारा किया गया यह पोल बताता है कि मोदी इस बार भी गुजरात में एक
शक्तिशाली राजनेता के रूप में उभरेगे. लेकिन चुनाव से ठीक पहले किया गया यह
पूर्वानुमान कितना सही है और कितना गलत तथा इस पूरे ऑपिनियन पोल पर मोदी
कितने खरे उतरते हैं वह तो 20 दिसंबर को पता चलेगा जब गुजरात विधानसभा के
नतीजे सामने होंगे....जागरण Junction से साभार .......
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