बुधवार, 30 जनवरी 2013

तिलक,तराजू और तलवार – इनको मारो जूते चार ???

तिलक,तराजू और तलवार – इनको मारो जूते चार ..इस से बढ़कर घटिया बयानबाजी क्या हो सकती है ...?
अगर आप ये लिख कर गूगल देवता पे खोज करोगे तो आपके सामना कांशी राम जी और मायावती जी के चित्र भी आ जायेंगे क्योंकि ये नारा देने वाले यही थे।
और ऐसे ही कई सारे बयान और नेतागण भी देते रहते हैं लेकिन किसी पे आज तक केस दर्ज नहीं हुया वहीँ अगर कोई अन्य व्यक्ति ऐसा कुछ कह दे तो तुरंत उस पर केस दर्ज कर दिए जाते हैं। सब जानते और मानते हैं की भर्ष्टाचार कोई विशेष समुदाय नहीं करता,,लगभग सब इसमें लिप्त हैं लेकिन
क्या हर चीज की अभिव्यक्ति की स्वतंत्रता बस इसी राजनीतिज्ञ वर्ग को रह गई है ..?
जब हम किसी जाती के ख़ास को कुछ कह देते है गलती से भे तो हमारे ऊपर SC ST एक्ट लागू कर दिया जाता है और हमें जेल भेजने के लिए दबाब बना देते है ये सेकुलर नेता ....उस समय पर मायावाती जी या कासीराम जी पर कोई केस क्यों नह...ीं चलाया गया था ? जबकि आज आशीष नंदी जी के उपर sc st एक्ट के अंतर्गत केस दायर कर दिया .....

मायावती जी आज भी खुलेआम घूम रही है क्यों ?

क्या सभी नियम हम सवर्णों को सताने के लिए ही बनाए गए ?

क्या ये बदले की राजनीती नहीं है ?

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